Kanpati satah par By Madan Soni
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Kanpati satah par By Madan Soni
काँपती सतह पर (चुने हुए निबन्ध और दो क़िस्से) – मदन सोनी
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‘काँपती सतह पर’ मदन सोनी के लेखनी के चुने अंशों का संचयन है। मदन सोनी ने शुरू से ही हिन्दी आलोचना में रूढ़ हो गये कई द्वैतों जैसे सामाजिकता और निजता, प्रतिबद्धता और स्वायत्तता आदि से दूर रह कर कृतियों के सघन पाठ और उनमें अनिवार्य रूप से मौजूद अन्तर्ध्वनियों के विश्लेषण को लक्ष्य बनाया।
About the Author:
जन्म 1952, सागर, मध्य प्रदेश में। पाँच आलोचना पुस्तकें प्रकाशित जिनमें कविता का व्योम और व्योम की कविता, विषयान्तर, कथापुरुष, उत्प्रेक्षा और विक्षेप शामिल। अनेक पुस्तकों और पत्रिकाओं का सम्पादन जिनमें आधुनिक हिन्दी की प्रेम कविताओं का संचयन प्रेम के रूपक, अशोक वाजपेयी की चुनी हुई रचनाएँ, शमशेर की कविता पर केन्द्रित आलोचना पुस्तक समझ भी पाता तुम्हे यदि में और भारत भवन, भोपाल से प्रकाशित पत्रिका पूर्वग्रह प्रमुख रूप में शामिल हैं। टेमिंग ऑफ़द (शेक्सपीयर), कॉकेशियन चाक सर्किल (ब्रेख्त), यरमा (लोर्का), नैरो रोड टु द डीप नाथ (एडवर्ड बॉण्ड), द स्क्वेयर (माग्रीत ड्यूग़ास) आदि नाटकों, सिद्धार्थ (हरमन हेस), द नेम ऑफ़ द रोज़ (उम्बर्तो एको), वाइसेज फ्राम चेर्नाबिल (इन्ग्रिड हुल्मेन), द विंची कोड (डैन ब्राउन) आदि उपन्यासों, एडवर्ड सईद की पुस्तक रिप्रेजेण्टेशंस ऑफ द इण्टेलेक्चुअल, रामचन्द्र गाँधी की स्वराज और युवाल नोआ हरारी की पुस्तकों समेत अनेक कृतियों का अंग्रेजी से हिन्दी में अनुवाद। ‘काँपती सतह पर’ इनकी रचनाओं का संचयन। देवीशंकर अवस्थी पुरस्कार, नन्ददुलारे वाजपेयी पुरस्कार, मानव संसाधन विकास मन्त्रालय की वरिष्ठ शोधवृत्ति और रज़ा फ़ाउण्डेशन दिल्ली तथा उच्च अध्ययन संस्थान नान्त (फ्रांस) की फेलोशिप प्राप्त।
ISBN | 9788195218424 |
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Author | Madan Soni |
Binding | Paperback |
Pages | 597 |
Publisher | Setu Prakashan Samuh |
Imprint | Setu Prakashan |
Language | Hindi |
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